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लीलाधर जागूडी की जीवनी |
लीलाधर जागूडी का जीवन परिचय (Leladhar Biography in Hindi)
इस पोस्ट में लीलाधर जागूड़ी का जन्म, जन्म स्थान, पिता की नाम, माता का नाम, शिक्षा, रचनाएं, पुरस्कार, सम्मान, करियर, प्रमुख कृतियां, प्रमुख कविता, नेटवर्थ के बारे में बात करेंगे।
लीलाधर जगूड़ी का जन्म 1 जुलाई 1940 को उत्तराखंड के टिहरी जिले में हुआ था। लीलाधर जगूड़ी को अभी तक बहुत से हिन्दी साहित्यिक सम्मान से नावाजा जा चुका है। उन्हें हाल ही में “व्यास सम्मान” (28 वां) से वर्ष 2018 से सम्मानित किया जा चुका है। यह सम्मान उनको उनकी रचना “जितने लोग उतने प्रेम” के लिए दिया गया। इनको वर्ष 1997 में साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है। यह सम्मान उनको उनके काव्य ‘अनुभव के आकाश में चांद’ के लिए प्रदान किया गया।
जन्म | 1 जुलाई 1940 |
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जन्म स्थान | टिहरी, उत्तराखंड |
माता का नाम | ज्ञात नही |
पिता का नाम | ज्ञात नही |
शिक्षा | स्नातक |
व्यवसाय | शिक्षक, लेखक, कवि |
सम्मान | पद्मश्री, साहित्य अकादमी पुरस्कार, सम्मान |
नागरिकता | भारतीय |
पत्नी और बच्चे | ज्ञात नही |
लीलाधर जागूडी की शिक्षा
लीलाधर जागूडी ने उत्तर प्रदेश के वाराणसी से बी. ए. (स्नातक) की उपाधि प्राप्त की उसके इन्होंने एक शिक्षक के रूप में कुछ वर्षों तक सेवा की तथा उसके बाद वे उत्तर प्रदेश सरकार में एक सूचना विभाग में अपनी सेवा दी।
लीलाधर जगूड़ी की प्रमुख कृतियां
- शंखमुखी शिखरों पर (1964)
- नाटक जारी है (1972)
- इस यात्रा में (1974)
- रात अभी मौजूद है (1996)
- बची हुई पृथ्वी (1977)
- घबराये हुऐ शब्द (1981)
- जितने लोग उतने प्रेम (व्यास सम्मान, 2018)
- अनुभव के आकाश में चांद (साहित्य अकादमी पुरस्कार,1997)
- ईश्वर की अध्यक्षता
- खबर का मुख विज्ञापन से ढका है
प्रमुख सम्मान
- साहित्य अकादमी पुरस्कार, 1997
- पद्मश्री सम्मान, 2004
- व्यास सम्मान, 2018
- रघुवर सहाय सम्मान
- आकाशवाणी पुरस्कार
FAQ:
1. लीलाधर जागूडी ने अपने काव्य में किस छंद का प्रयोग किया है?
Ans- लीलाधर जागूडी ने अपने काव्य में मुक्त छंद का प्रयोग किया।
2. ईश्वर की अध्यक्षता किसकी कृति है?
Ans- लीलाधर जागूडी ।
3. लीलाधर जागूडी की काव्य भाषा क्या है?
Ans- लीलाधर जागूडी की काव्य भाषा हिन्दी है।
4. लीलाधर जागूडी की कविताएं कौन सी हैं?
Ans- लीलाधर जागूडी की प्रमुख कविता ‘शंख शिलीमुख शिखरों पर’ है।